नई दिल्ली: कांग्रेस ने गुरुवार को कहा कि वह तीन तलाक विधेयक का समर्थन करती है, लेकिन सलाह देते हुए कहा कि विधेयक मुस्लिम महिलाओं के पक्ष को मजबूत करने वाला होना चाहिए. पार्टी ने साथ ही कहा कि कानून द्वारा यह सुनिश्चित किए जाने की जरूरत है कि तलाकशुदा महिलाओं और उनके बच्चों को निर्वहन और भरण-पोषण भत्ता मिलता रहे. कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सिंह सुरजेवाला ने कहा, “कांग्रस त्वरित (इंस्टैंट) तीन तलाक पर प्रतिबंध लगाने के संबंध में सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत करने वाली पहली पार्टी थी और कहा कि यह महिलाओं के हितों की रक्षा करने की दिशा में एक मजबूत कदम है.”
बिल में सुधार के पक्ष में कांग्रेस
उन्होंने कहा, “पार्टी त्वरित तीन तलाक को प्रतिबंधित करने के समर्थन में है और हम विश्वास करते हैं कि इस कानून को और मजबूत बनाने की जरूरत है. इन महिलाओं के अधिकार को मजबूत करने के लिए हमारे पास कुछ सुझाव हैं.”
कांग्रेस नेता ने कहा, “विधेयक महिलाओं और मुस्लिम महिलाओं के पक्ष को मजबूत करने वाला होना चाहिए. इस चिंता को कांग्रेस ने बता दिया है. जितनी भी सजा आप चाहे वो दें, लेकिन यह सुनिश्चित करें कि इस अधिनियम के तहत गुजारा भत्ता और बाल एवं 1986 अधिनियम के तहत मुस्लिम महिला के भरण-पोषण पर रोक नहीं लगे.
गुजारा भत्ता के मसले पर कांग्रेस को आपत्ति
उन्होंने कहा, “जिस व्यक्ति को परिवार का भरण-पोषण करना है और गुजारा भत्ता देना है, वह अगर जेल में है तो, क्या यह विधेयक उस व्यक्ति के संपत्ति से भरण-पोषण का प्रावधान देता है? इसका जवाब है, नहीं.”
उन्होंने कहा, “ऐसा प्रावधान बनाया जाना चाहिए और सरकार को इस पर विचार करना चाहिए. अगर व्यक्ति की सांझी संपत्ति हो, तो क्या इस विधेयक में यह प्रावधान है कि संपत्ति का बंटवारा हो सकता है और इससे भरण-पोषण का खर्च दिया जा सकता है? इसका उत्तर नहीं है. क्या सरकार को इस पर विचार करना चाहिए? जवाब है हां.”
सुरजेवाला ने यह भी पूछा कि जिस व्यक्ति को गुजारा भत्ता देना है, उसके पास संपत्ति नहीं होने की स्थिति में क्या सरकार ने कोई प्रावधान किया है? इसका उत्तर है नहीं. क्या सरकार को इस पर विचार करना चाहिए? जवाब है ‘हां’. उन्होंने कहा, “इसलिए भरण-पोषण और गुजारा भत्ता के भुगतान से संबंधित मुद्दा स्पष्ट होना चाहिए और सरकार को इसका जवाब देना चाहिए.”