1600 करोड़ की ठगी के गोरखधंधे का पर्दाफाश, मास्टरमाइंड समेत 4 आरोपी गिरफ्तार

राजस्थान में स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप ने करीब आधा दर्जन कंपनियों के यहां छापामारी कर चार बड़े व्यवसायियों को गिरफ्तार किया है. आम लोगों के करोड़ों रुपयों का वारा-न्यारा करने वाली कंपनियों के कई निदेशक स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप (एसओजी) के हत्थे चढ़ गए हैं.

1600 करोड़ रुपयों की ठगी का खुलासा

राजस्थान के अलावा गुजरात, उत्तर प्रदेश, बंगलुरु और पश्चिमी बंगाल में भी इन कंपनियों का जाल फैला है. खास तौर से पिनकोन ग्रुप नाम की एक कंपनी की करोड़ों रुपये की ठगी उजागर होने के बाद निवेशकों के पांवों तले से जैसे जमीन ही खिसक गई है. राजस्थान एसओजी ने हजारों करोड़ रुपये का कारोबार कर रही कोलकाता पश्चिमी बंगाल के पिनकोन ग्रुप पर छापा मारकर करीब 1600 करोड़ रुपयों की ठगी का खुलासा किया है.

पिनकोन ग्रुप का चेयरमैन गिरफ्तार

इस मामले में पिनकोन ग्रुप के चेयरमैन मोनोरंजन रॉय और कंपनी से जुड़े बिनय सिंह को गिरफ्तार भी किया है. एसओजी ने कंपनी के खातों को सील करने के साथ ही इनके कार्यालयों को भी सीज करने की कार्रवाई शुरू कर दी है. राजस्थान के एसओजी के एडीजी उमेश मिश्रा ने बताया कि इन शातिर ठगों ने शैल कंपनियों के जरिए देशभर में 3 लाख लोगों से करीब 1600 करोड़ रुपयों की ठगी की है. पिनकोन ग्रुप लोगों से निवेश के नाम पर ठगे गए रुपयों से बंगाल सरकार को शराब सप्लाई करता है. ये कंपनी हर रोज सरकार को करीब 3 करोड़ रुपये बतौर टैक्स अदा भी करती है.

पिनकोन ग्रुप के खिलाफ धोखाधड़ी का मामला दर्ज

दरअसल, राजस्थान एसओजी को कई महीनों से सूचानएं मिल रही थीं कि पिनकोन ग्रुप की ओर से राजस्थान के कई जिलों में निवेश के नाम पर लोगों के साथ ठगी की जा रही है. इस बीच अजमेर में एक पीड़ित संदीप घोष ने पिनकोन ग्रुप के खिलाफ 76 लाख रुपये निवेश के नाम पर धोखाधड़ी का मामला दर्ज कराया. आईजी दिनेश एमएन के नेतृत्व में एसओजी ने मामले की जांच करते हुए एसआईटी का गठन कर पश्चिम बंगाल, बंगलुरु, यूपी समेत पांच राज्यों में कार्रवाई करते हुए पिनकोन ग्रुप के चैयरमेन मनोरंजन रॉय समेत बिनय सिंह को गिरफ्तार किया है. वहीं राजकुमार राय और रघुराज शेट्टी को भी हिरासत में लिया है.

पिनकोन ग्रुप ने बनाईं 6 फर्जी कंपनियां

एसओजी के आईजी एनएम दिनेश ने बताया कि पिनकोन ग्रुप ने राजस्थान में लोगों को शिकार बनाने लिए एलआरएन फाइनेंस लिमिटेड, एएसके फाइनेंशियल सर्विसेज, ग्रिनेज फूड प्रोडक्ट, बंगाल पिनकोन हाउसिंग इन्फ्रा, लिमिटेड, एलआरएन यूनिवर्स प्रडयूसर कपंनी, यूनिवर्सल मल्टिस्टेट क्रेडिट कॉपरेटिव सोसाइटी के नाम से 6 फर्जी कंपनियां बनाईं.

ठगी के लिए राजस्थान के अजमेर में रीजनल ऑफिस खोला गया. साल 2010 में ग्रुप ने लोगों से इन फर्जी कंपनियों में करोड़ों रुपये का निवेश कराया. सबसे पहले ग्रुप ने राजस्थान के जयपुर, भरतपुर, अलवर, कोटा, निवाई, अजमेर समेत कई जिलो में 11 ब्रांच ऑफिस खोले. निवेश कराने के लिए इस ग्रुप ने लोगों को गुमराह करने के लिए एक बैंक अकाउंट भी खोला.

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