गांधीनगर: केंद्रीय मंत्री रवि शंकर प्रसाद ने शनिवार (7 अक्टूबर) को कहा कि आर्थिक वृद्धि दर में पहली तिमाही में आई गिरावट अस्थायी है और दूसरी तिमाही में अर्थव्यवस्था का प्रदर्शन सुधरेगा क्योंकि इसकी वृहद आर्थिक बुनियाद काफी मजबूत है. आईटी व विधि मंत्री प्रसाद ने यहां कहा कि चूंकि अर्थव्यवस्था के वृहद कारक काफी मजबूत हैं इसलिए आने वाले दिनों में वृद्धि दर निश्चित रूप से सुधरेगी. प्रसाद ने कहा, ‘जीडीपी वृद्धि दर 2014-15 में 7.5 प्रतिशत, 2015-16 में 8 प्रतिशत व 2016-17 में 7.1 प्रतिशत बढ़ी. केवल एक तिमाही जो कि मौजूदा वित्त वर्ष की पहली तिमाही में जीडीपी वृद्धि दर 5.7 प्रतिशत रही. मेरा मानना है कि दूसरी तिमाही में यह फिर तेज होगी.’
पहली तिमाही में वृद्धि दर में नरमी के लिए जीएसटी की शुरुआत के कारण अर्थव्यवस्था में आई उठापटक को जिम्मेदार बताते हुए प्रसाद ने कहा, ‘जब हम कोई पुल बनाते हैं तो ट्रैफिक का रास्ता बदलना पड़ता है, वाहनों की कतारें भी लगती हैं. लेकिन यह अस्थायी होता है क्योंकि पुल खुलने पर चीजें सामान्य हो जाती हैं.’ मंत्री ने कहा, ‘इसी तरह जीएसटी एक नयी व्यवस्था है जिससे धक्का लगा है. लेकिन चूंकि हमारी अर्थव्यवस्था की बुनियाद मजबूत है, हम निश्चित रूप से सुधार दर्ज करेंगे.’
जीएसटी परिषद ने शुक्रवार (6 अक्टूबर) को कई वस्तुओं पर कर में कटौती की घोषणा की जिनमें से ज्यादातर का फायदा गुजरात को होगा जहां चुनाव होने है. इस कटौती के समय संबंधी सवाल पर प्रसाद ने कहा कि सरकार हमेशा ही जीएसटी दरों में इस तरह के बदलावों को लेकर खुले दिमाग से काम करती रही है क्योंकि यह ‘अधिनायकवादी सरकार’ नहीं है.
उन्होंने कहा, ‘इतने बड़े देश में यह बड़ा कर सुधार कार्यान्वयन किया गया है. इसमें अगर किसी बदलाव की जरूरत है तो क्यों नहीं किया जाए. नरेंद्र मोदी सरकार कोई अधिनायकवादी सरकार नहीं है. हम जनहित में काम करने वाली सरकार हैं जो लोगों की दिक्कतों को सुनती है.’ जीएसटी परिषद ने छोटे कारोबारियों के दबाव के आगे झुकते हुये शुक्रवार (6 अक्टूबर) शाम को कई बदलाव किये हैं. इनसे छोटे और मझोले उद्यमियों को काफी राहत दी गई है. इसके साथ ही 27 वस्तुओं पर कर की दरों को भी कम किया गया है.