रेयान स्कूल मर्डर केस में पुलिस की जांच के दौरान मुख्य आरोपी बनाए गए स्कूल के बस कंडक्टर अशोक कुमार को मंगलवार को अदालत ने जमानत दे दी. गुरुग्राम जिला न्यायाधीश ने 50 हजार रुपये के मुचलके पर अशोक को सशर्त जमानत दी है. अदालत ने साथ ही अशोक को हिदायत दी है कि जरूरत पड़ने पर उसे CBI को जांच में सहयोग देना होगा और शहर छोड़ने से पहले पुलिस को सूचित करना होगा.
अशोक कुमार के परिजनों ने एक दिन पहले सोमवार को अदालत में जमानत याचिका दायर की थी. सोमवार को अदालत ने दोनों पक्षों की दलिल सुनने के बाद जमानत पर फैसला सुरक्षित रख लिया था. इससे पहले गुरुवार को जुवेनाइल कोर्ट में सीबीआई ने अशोक को क्लिन चिट देने से इनकार कर दिया था.
जुवेनाइल कोर्ट में सीबीआई ने अशोक कुमार की जमानत का विरोध किया था. सीबीआई ने दलील दी थी कि जब तक इस केस की जमानत पूरी नहीं हो जाती, तब तक अशोक को न्यायिक हिरासत में रखा जाए.
इन बिंदुओं के आधार पर मांगी थी जमानत
– आरोपी अशोक कुमार निर्दोष है. उसे गलत तरीके से केस में फंसाया गया है.
– जांच के बाद से अशोक न्यायिक हिरासत में है. उसने जो अपराध नहीं किया, उसकी भी धाराओं लगाई गई हैं.
– आरोपी बस कंडक्टर से किसी तरह की रिकवरी या पूछताछ की जरूरत नहीं है.
– इस केस में दूसरा आरोपी पकड़ा जा चुका है. ऐसे में बस कंडक्टर की हिरासत की जरूरत ही नहीं.
– आरोपी गुरुग्राम के घामरोज गांव का स्थाई निवासी है. उसके फरार होने का कोई चांस नहीं है.
सीबीआई ने आरोपी अशोक कुमार को शुरुआत में रिमांड पर लेकर पूछताछ की थी. इसके बाद सीबीआई ने आरोपी को अदालत में पेश किया था. कोर्ट ने उसे जेल भेज दिया था. फिर सीबीआई ने इस मामले में रेयान स्कूल के ही एक नाबालिग छात्र को पकड़ा और यह कहा कि उसी ने प्रद्युम्न ठाकुर की स्कूल के अंदर हत्या की थी.
आरोपी के नाबालिग होने की वजह से यह मामला फिलहाल गुड़गांव सेशन कोर्ट के जुवेनाइल कोर्ट में चल रहा है. अशोक के वकील ने पहले जुवेनाइल कोर्ट में ही जमानत अर्जी दाखिल की, लेकिन वहां से जमानत नहीं मिलने पर जिला अदालत का रुख किया.
इस बीच अशोक कुमार के मामा और सीबीआई की जांच में सामने आए नए हत्यारोपी नाबालिग छात्र के परिजनों के बीच एक संदिग्ध ऑडियो टेप सामने आया है, जिसमें अशोक के मामा सारे आरोप स्कूल पर मढ़ने की बात कहते सुने गए. अशोक के मामा ने साथ ही पुलिस पर अशोक पर जुर्म कबूल करने के लिए थर्ड डिग्री टॉर्चर इस्तेमाल करने का आरोप भी लगाया है.
उनका आरोप है कि जुर्म कबूल कराने के लिए अशोक के हाथों को गर्म पानी में डाला गया. उसके सिर को ठंडे पानी में डुबाया गया. उसे कई तरह के इंजेक्शन लगाए गए. जेल में अशोक ने मुलाकात करने पहुंचे अपने परिवार को बताया था कि वारदात वाले दिन उसने 2 लड़कों को टॉयलेट में देखा था.