चीन ने दी पीएम नरेंद्र मोदी को एक और ‘टेंशन’, भारत को पानी के लिए तरसाने का है प्लान

नई दिल्ली: डोकलाम विवाद सुलझने के बाद चीन अब पानी को लेकर भारत को परेशान करने के मूड में है. चीन ने ब्रह्मपुत्र नदी का पानी भारत में आने से रोकने के लिए खास प्लान बनाया है. बताया जा रहा है कि चीन के इंजीनियर ऐसी तकनीकों का परीक्षण कर रहे हैं, जिनका इस्तेमाल ब्रह्मपुत्र नदी के जलप्रवाह को अरुणाचल प्रदेश की सीमा से लगे तिब्बत से शिनजियांग की तरफ मोड़ने के लिए 1,000 किलोमीटर लंबी सुरंग बनाने में किया जा सकता है. हांगकांग के अखबार ‘साउथ चाइना मॉर्निंग पोस्ट’ ने खबर दी है कि इस कदम से ‘शिनजियांग के कैलीफोर्निया में तब्दील होने’ की उम्मीद है. इस कदम से पर्यावरणविदों में चिंता पैदा हो गई है क्योंकि इसका हिमालयी क्षेत्र पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ सकता है. देखना दिलचस्प होगा कि डोकलाम विवाद को बातचीत से सुलझाने वाले पीएम नरेंद्र मोदी की सरकार ब्रह्मपुत्र नदी के मुद्दे पर क्या कदम उठाते हैं.

यह प्रस्तावित सुरंग चीन के सबसे बड़े प्रशासनिक क्षेत्र को पानी मुहैया कराने का काम करेगी. दक्षिणी तिब्बत की यारलुंग सांगपो नदी के जलप्रवाह को शिनजियांग के ताकालाकान रेगिस्तान की तरफ मोड़ा जाएगा. भारत में इस नदी को ब्रह्मपुत्र के नाम से जाना जाता है.

ब्रह्मपुत्र नदी पर चीन की ओर से कई बांध बनाए जाने को लेकर भारत बीजिंग को अपनी चिंताओं से अवगत करा चुका है. तिब्बत-शिनजियांग जल सुरंग के प्रस्ताव का मसौदा तैयार करने में सहायक रहे शोधकर्ता वांग वेई ने कहा कि शोध कार्य में 100 से अधिक वैज्ञानिकों के अलग अलग दल बनाए गए.

चीन की सरकार ने मध्य युनान प्रांत में इसी साल अगस्त में 600 किलोमीटर से अधिक लंबी सुरंग बनाने का काम आरंभ किया. शोधकर्ताओं का कहना है कि युनान में बन रही सुरंग नयी प्रौद्योगिकी का पूर्वाभ्यास है. इसका इस्तेमाल ब्रह्मपुत्र नदी के जल प्रवाह को मोड़ने में किया जा सकता है.

    ssss

    Leave a Comment

    Related posts