नई दिल्ली : पिछले दिनों आम आदमी को पेट्रोल और डीजल की कीमतों में राहत देने के लिए गुजरात, मध्य प्रदेश और हिमाचल प्रदेश ने वैट की दर में कटौती की थी. इससे तीनों राज्यों में तेल की कीमतों में गिरावट आई थी. पिछले दिनों केंद्र सरकार ने भी एक्साइज ड्यूटी में 2 रुपये प्रति लीटर तक की कटौती की है. इस सबके बीच पेट्रोल और डीजल को जीएसटी के दायरे में लाने की भी मांग होती रही है. तेल की कीमतों में हर दिन हो रहे बदलाव से देश की जनता को राहत देने के लिए महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने सुझाव दिया है.
एक न्यूज चैनल के कार्यक्रम महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री ने सुझाव दिया कि पेट्रोल और डीजल को GST के तहत लाया जाना चाहिए. इससे पहले केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान भी पेट्रोल-डीजल जीएसटी के दायरे में लाने की अपील कर चुके हैं. उन्होंने कहा था कि आम आदमी को इसका सबसे ज्यादा फायदा होगा. यदि ऐसा हुआ तो पेट्रोल- डीजल की कीमतें मौजूदा कीमत से करीब आधी हो जाएंगी.
यदि केंद्र सरकार पेट्रोल और डीजल को जीएसटी के दायरे में लाती है तो इन पर अधिकतम 28 फीसदी टैक्स ही लगाया जा सकता है. 28 फीसदी टैक्स लगने से राजधानी दिल्ली में एक लीटर पेट्रोल की कीमत करीब 43 रुपए होगी. वहीं डीजल की कीमत 41 रुपए तक हो जाएंगी.
इंडियन ऑयल की तरफ से 4 सितंबर को जारी आंकड़ों के मुताबिक ऑयल कंपनियां एक लीटर पेट्रोल के लिए 26.65 रुपए का भुगतान करती हैं. डीलर को कंपनियां इसकी बिक्री 30.13 रुपए प्रति लीटर की दर पर करती हैं. इसके ऊपर डीलर 3.24 रुपए का अपना कमीशन लेता है. इस तरह इसकी कीमत 33.37 रुपए प्रति लीटर हुई. यह पूरा आंकड़ा सितंबर माह के अनुसार है.