मुंबई: अगले सप्ताह शेयर बाजार में निवेशकों की नजर वैश्विक संकेतों पर रहेगी. बाजार की चाल वैश्विक बाजारों के प्रदर्शन, घरेलू और वैश्विक व्यापक आर्थिक आंकड़े, विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफपीआई) और घरेलू संस्थापक निवेशकों (डीआईआई) द्वारा किए गए निवेश, डॉलर के मुकाबले रुपये की चाल और कच्चे तेल की कीमतों के प्रदर्शन के आधार पर तय होंगे. सऊदी अरब में जारी राजनीतिक उठापटक से कच्चे तेल की कीमतें प्रभावित होने की आशंका है. भारत अपनी ज्यादातर जरूरतों के लिए कच्चे तेल के आयात पर निर्भर है और इसकी कीमतों में बढ़ोतरी से वित्तीय घाटा और मुद्रास्फीति को लेकर सरकार की चिंता बढ़ जाती है
इससे अवसंरचना समेत अन्य सरकारी योजनाओं पर किए जाने वाले खर्च में कटौती का खतरा पैदा हो जाता है, जिससे देश की विकास दर प्रभावित होती है. इस दौरान रुपये में कमजोरी से कच्चे तेल के आयात की लागत बढ़ जाती है. वहीं, वैश्विक मोर्चे पर अमेरिका में घरों की बिक्री का आंकड़ा मंगलवार को जारी किया जाएगा. गुरुवार को अमेरिकी शेयर बाजार ‘थैंक्स गिविंग डे’ के उपलक्ष्य में बंद रहेंगे.