भीमा कोरेगांव हिंसा : महाराष्ट्र में पुणे के भीमा कोरेगांव में हुई हिंसा के विरोध में आज दलित संगठन महाराष्ट्र के कई इलाकों में प्रदर्शन कर रहे हैं. स्थिति बेहद तनावपूर्ण बनी हुई है. हिंसक भीड़ बसों और रेलवे स्टेशनों को अपना निशाना बना रही है. कई इलाकों में बस सर्विस ठप हो गई है. वहीं औरंगाबाद में इंटरनेट सेवाएं भी रोक दी गई हैं. प्रदर्शन से जुड़ी पल-पल की खबर के लिए आप एबीपी न्यूज़ के साथ बने रहिए.
ठाणे, नागपुर, पुणे और अन्य शहरी क्षेत्रों के मुकाबले बाहरी इलाकों में बंद का ज्यादा असर देखने को मिला. तटीय कोंकण क्षेत्र और बीड, लातूर, सोलापुर, जलगांव, धुले, अहमदनगर, नासिक और पालघर जैसे दलित बहुल इलाके लगभग पूरी तरह से बंद रहे. अमरावती और कोल्लापुर पूरी तरह बंद है. जलगांव में भी कई बसों के शीशे तोड़ दिए गए. मनमाड़ में 108 बसों को रोका गया. प्रदर्शनकारियों ने यहां एक बस जलाने की कोशिश की है. औरंगाबाद में सुबह से इंटरनेट सेवा बंद है. यहां कुछ इलको में पथराव किया गया है. स्कूलों के साथ-साथ बस सर्विस भी ठप हो गई है. मुंबई में बोरीवली से चर्च गेट जाने वाली एसी लोकल ट्रेन बंद कर दी गई है. वहीं घाटकोपर से एयरपोर्ट तक मेट्रो सेवा भी ठप हो गई है. वहीं लोकल की हार्बल लाइन बंद कर दी गई है.
एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि प्रदर्शनकारियों ने गोरेगांव उपनगर में पश्चिमी लाइन पर रेल यातायात भी बाधित करने की कोशिश की है. इस्टर्न एक्सप्रेस हाईवे रोका गया है. महाराष्ट हिंसा पर आरएसएस प्रवक्ता मनमोहन वैद्य ने कहा है कि संघ समाज को जोडने का काम करता है तोडने का नहीं. कुछ लोग राजनैतिक फायदे के लिये हिंसा को बढावा देते हैं और कांग्रेस कोई पहली बार संघ पर आरोप नहीं लगा रही हमेशा संघ कांग्रेस के निशाने पर रहा है. पालघर स्टेशन की केंटीन भी बंद कर दी गई है. घाटकोपर से एयरपोर्ट तक की मेट्रो सर्विस फिलहाल रोक दी गई है. वहीं, घाटकोपर में कई बसें भी रोकने की कोशिश की गई है.
दक्षिण मुंबई के सेंट जेवियर कॉलेज में आज 11वीं कक्षा की परीक्षाएं रद्द कर दी है. स्कूल बस मालिकों के संघ के एक प्रवक्ता ने कहा, ‘‘हम छात्रों की सुरक्षा का जोखिम नहीं उठा सकते. अगर हम दूसरी पारी में बस चला सकते हैं तो इस पर स्थिति देखने के बाद फैसला लेंगे.’’ महाराष्ट्र से बीजेपी के सांसद और शिवाजी के वंशज श्री संभाजी छत्रपति ने शांति की अपील करते हुए कहा है कि श्री संभाजी ने कहा कि दलित उनके भाई के तरह हैं, उनके साथ उनकी कोई दुश्मनी नहीं है. डब्बा वालों ने भी आज मुंबई में अपनी सर्विस बंद करने का एलान किया है. हिंसा के दौरान हुई तोड़फोड़ के बाद स्कूल बस एसोसिएशन ने सड़कों पर बसें उतराने से इनकार कर दिया है. स्कूल बसें नहीं चलेंगी, लेकिन सरकार ने अभी स्कूल बंद करने का एलान नहीं किया है
दरअसल पूरा झगड़ा 29 दिसंबर से शुरू हुआ था. 29 दिसंबर को पुणे के वडू गांव में दलित जाति के गोविंद महाराज की समाधि पर हमला हुआ था, जिसका आरोप मिलिंद एकबोटे के संगठन हिंदू एकता मोर्चा पर लगा और एफआईआर दर्ज हुई. एक जनवरी को दलित समाज के लोग पुणे के भीमा कोरेगांव में शौर्य दिवस मनाने इकट्ठा हुए और इसी दौरान सवर्णों और दलितों के बीच हिंसक झड़प हुई, जिसमें एक शख्स की जान चली गई और फिर हिंसा बढ़ती गई.
जिस वक्त शौर्य दिवस का कार्यक्रम हो रहा था तो मंच पर गुजरात के दलित विधायक जिग्नेश मेवाणी और जेएनयू के छात्रनेता उमर खालिद भी मौजूद थे. दोनों पर उत्तेजित भाषण देने के आरोप में पुणे के थाने में शिकायत दर्ज की कराई गई है.
अब आज महाराष्ट्र में हुई हिंसा की गूंज आज संसद में भी सुनाई दे सकती है क्योंकि विक्षपी कल से ही सरकार पर हमलावर हैं, वहीं हिंसा और बंद के एलान के बाद सीएम फडणवीस ने गृहमंत्री राजनाथ सिंह को जानकारी दी है. सूत्रों के मुताबिक फडणवीस ने हालात पर नियंत्रत का दावा किया है और अतिरिक्त सुरक्षाबल की मांग नहीं की है.