कोरोना वायरस: उपरोक्त नास {भाप}लेने का नुस्खा काफी असरदार है

कोरोना वायरस

आज कोरोना वायरस का खौफ इतना हैं जैसा कुछ साल पहले स्वाईन फ्लू का था । दोनों बीमारी एक सी ही हैं और वायरस से फैलती हैं । इससे डरने की नहीं सावधानी की आवश्यकता हैं ।

कोरोना वायरस श्वसन तंत्र को प्रभावित करता हैं । न्यूमोनिया होता है जो जानलेवा भी हो सकता है । मेरा मानना है कि श्वसन तंत्र को मजबूत करने से बीमारी से बचा जा सकता है । इस लिए मैं नास लेने की सलाह देता हूँ । इससे नाक से लेकर फेफड़ों की कोशिकाएं.. सब गर्म हो जाता हैं । गर्मी 35° सेन्टीग्रेड से ज्यादा होते वायरस बढ़े तापमान में मर जाते है । इस से श्वसन तंत्र में कफ और बलगम नहीं होता और श्वसन तंत्र की कहीं बीमारी से आराम मिलता है ।

नास लेने के लिए एक पतेली में पानी उबाल कर चादर ओढ़ कर बैठना है । नास विक्स या बाम डाल कर नहीं लेना चाहिए क्योंकि इसमे चिकना ग्रीस होता है जो श्वसन तंत्र में चिपकता है.. नुकसान करता है ।

नास लेते समय उबलते पानी में टिंचर बेन्जोइन, मिंट, अजवायन के फूल, कपूर, नीलगिरि का तेल, पत॔जली का दिव्य धारा तेल, भीमसेन का तेल जैसे पदार्थ डालने है ।

हमारे शरीर में लगभग 5 लीटर लहू होता है । हमारा ह्रदय मिनट में 72 बार घडकता है ( पंपींग करता ) है और एक धड़कन मे 70 मिली लहू फेफड़ों में जाता है । इस प्रकार 72×70 = 5040 मिली ( 5 लीटर ) लहू शुद्ध होता है । 15 से 20 मिनट नास लेने से पूरा लहू 15 से 20 बार गर्म हो जाता है और लहू में फैला वायरस मर जाता है ।

मेरा खुद का अनुभव है कि उपरोक्त नास लेने का नुस्खा काफी असरदार है । मुझे असह्य शरदी खांसी रहती थी पर नास लेने से संपूर्ण आराम हैं । बदलते मौसम और शरद ॠतु मे इसका अवश्य प्रयोग करे ।

बढ़ते कोरोना के प्रकोप से बचने के लिए यह मेरा अनुरोध है कि कृपया इसे आजमाइए और श्वसन तंत्र की बीमारी से बचें ।

अनुरोध है कि डाक्टर की दवाई चालु रखे और नास लेना प्रतिकूल हो तो नास न ले ।

धन्यवाद ।

    ssss

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