भारत की तरफ से कोविड-19 संक्रमितों के इलाज में कारगर एंटी मलेरिया दवाई भेजने पर अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप, ब्राजील के राष्ट्रपति जायर बोलसोनारो के बाद अब इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने पीएम मोदी को धन्यवाद कहा है।
नेतन्याहू ने अपने आधिकारिक ट्वीटर हैंडल से ट्वीट करते हुए कहा, धन्यवाद मेरे प्रिय दोस्त भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, इजरायल को हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन (HCQ) भेजने के लिए।
Thank you, my dear friend, Narendra Modi for sending Hydroxychloroquine to Israel: Benjamin Netanyahu, Prime Minister of Israel #COVID19 (File pic) pic.twitter.com/XN7V1tVO8z
— ANI (@ANI) April 9, 2020
हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन के निर्यात पर रोक के बाद विभिन्न देशों की तरफ से भारत को इसके कई लिए बार अनुरोध किया गया था, जिसके बाद भारत ने इसके निर्यात के ऊपर लगी रोक को हटाने का फैसला किया। 25 मार्च को भारत ने हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन के निर्यात पर रोक लगाई थी। समाचर एजेंसी आईएएनएस के मुताबिक, इसके बाद 6 अप्रैल को डायरेक्ट्रेट जनरल ऑफ फॉरेन ट्रेड (डीजीएफटी) ने हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन समेत 14 दवाईयों के निर्यात पर लगी रोक को हटाने का नोटिफिकेशन जारी किया।
Members of UN Security Council have expressed their support for all efforts of the Secretary-General concerning potential impact of #COVID19 to conflict-affected countries&recalled the need for unity&solidarity with all those affected: Dominican Republic Permanent Mission to UN pic.twitter.com/yABjBmf1QN
— ANI (@ANI) April 10, 2020
कोरोना संक्रमितों के इलाज में हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन की काफी मांग है। हालांकि, जानकारों का यह कहना है कि भारत आसानी से इस दवा की घरेलू मांगों में पूर्ति के साथ ही निर्यात करने में सक्षम है। वैसे, अभी तक बड़े स्तर पर ट्रायल में यह साबित नहीं हुआ है कि कोविड-19 संक्रमितों के इलाज में यह दवा कितना मददगार है।
वहीं, भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) ने कहा कि कोरोना वायरस (कोविड-19) मरीजों के लिए उन्होंने मलेरिया रोधी दवा (हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन) की सिफारिश नहीं की है, जब तक कि टेस्ट के दौरान संतोषजनक नतीजे नहीं दिखते हैं। आईसीएमआर के वैज्ञानिक आर. गंगा केतकर ने कहा, “यह समझने की जरूरत है कि हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन दवा कोरोना मरीजों के लिए जरूरी नहीं है। क्या यह दवा कोविड-19 के संक्रमण को कम करेगा, परीक्षण के बाद ही इसका पता चलेगा। जिनमें कोरोना के लक्षण पाए गए हैं, उनके ऊपर इसका परीक्षण चल रहा है। जब तक हमें संतुष्ट करने लायक नतीजे नहीं मिल जाते, हम किसी को भी यह दवा लेने के लिए नहीं कहेंगे।”
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