18 मई की सुबह तक इसके गुजरात पहुंचने के आसार हैं, जहां इससे भारी तबाही की आशंका है. इस बीच एनडीआरएफ ने 53 टीमों को राहत कार्य के लिए तैनात करने की तैयारी कर ली है. वहीं चक्रवात ‘तौकाते’ को लेकर जारी चेतावनी के बाद प्रधानमंत्री ने इस आपदा से निपटने की तैयारियों का जायजा लिया.
नई दिल्ली: अरब सागर से उठा इस साल का पहला चक्रवाती तूफान तौकाते (Cyclone Tauktae) तेजी से आगे बढ़ रहा है. शुक्रवार को केरल के कोट्टायम तट पर इसके कारण भारी बारिश हुई. मौसम विभाग के मुताबिक अगले 24 घंटे में इसका रूप और विकराल होगा और 18 मई की सुबह तक इसके गुजरात पहुंचने के आसार हैं, जहां इससे भारी तबाही की आशंका है. इस बीच एनडीआरएफ ने 53 टीमों को राहत कार्य के लिए तैनात करने की तैयारी कर ली है. वहीं, भारतीय मौसम विभाग (IMD) द्वारा चक्रवात ‘तौकाते’ को लेकर जारी चेतावनी के बाद प्रधानमंत्री ने इस आपदा से निपटने की तैयारियों का जायजा लिया.
मौसम विभाग के मुताबिक बृहस्पतिवार को अरब सागर और लक्षद्वीप के इलाके में दबाव वाला क्षेत्र बना था और तूफान के शनिवार सुुबह तक गहरे दबाव में परिवर्तित होने के आसार हैं. यहां से चक्रवाती तूफान का रूप लेते हुए यह अगले 24 घंटे में और आगे बढ़ेगा. इसके बाद विकराल रूप लेता हुआ यह तूफान उत्तर से होते हुए उत्तर पश्चिमी दिशा में आगे बढ़ेगा. तौकाते 18 मई की शाम तक गुजरात व उससे लगते पाकिस्तानी तटीय क्षेत्र के तट से टकरा सकता है और इससे वहां भारी तबाही होने की आशंका है.
केरल में सैकड़ों मकान क्षतिग्रस्त
वहीं केरल में मूसलाधार बारिश होने और तेज हवाएं चलने से सैकड़ों मकान क्षतिग्रस्त हो गए. पेड़ उखड़ गए और बिजली आपूर्ति घंटों तक बाधित रही. समुद्र में ऊंची लहरें उठने से तटीय इलाकों में जनजीवन बाधित हो गया. राज्य में कई जगहों पर पेड़ उखड़ गए और मकानों तथा वाहनों पर गिरे. पेड़ों के गिरने से कई स्थानों पर यातायात भी बाधित हो गया जबकि इडुक्की में मुन्नार-वट्टावडा रोड कुछ वक्त तक बाधित रहा. राज्य के पांच जिलों मलप्पुरम, कोझीकोड, वायनाड, कन्नूर और कासरगोड में अत्यधिक भारी बारिश की आशंका के साथ ‘रेड अलर्ट’ जारी किया गया है.
म्यांमार ने दिया तूफान को ‘तौकाते’ नाम
बताते चलें कि तूफान को ‘तौकाते’ नाम म्यांमार ने दिया है, जिसका मतलब ‘छिपकली’ होता है. इस साल भारतीय तट पर यह पहला चक्रवाती तूफान होगा. हिंद हिंद महासागर क्षेत्र के आठ देशों ने भारत की पहल पर इन तूफानों के नामकरण की व्यवस्था वर्ष 2004 में शुरू की. इन आठ देशों में भारत, बांग्लादेश, मालदीव, म्यांमार, ओमान, पाकिस्तान, थाईलैंड और श्रीलंका शामिल हैं. साल 2018 में ईरान, कतर, सउदी अरब, यूएई और यमन को भी जोड़ा गया. यदि किसी तूफान के आने की आशंका बनती है तो ये 13 देशों को क्रमानुसार 13 नाम देने होते हैं.
Three Navy diving teams from Southern Naval Command swung into action along with one Quick Reaction Team from INS Dronacharya to providing assistance to flood hit villages of Malaghapady, Companypadi, and Maruvakkad in Chellanam panchayat at Kochi: Indian Navy pic.twitter.com/gTMwb0kwO8
— ANI (@ANI) May 15, 2021
पसंद आया तो—— कमेंट्स बॉक्स में अपने सुझाव व् कमेंट्स जुरूर करे और शेयर करें
आईडिया टीवी न्यूज़ :- से जुड़े ताजा अपडेट के लिए हमें फेसबुक यूट्यूब और ट्विटर पर फॉलो लाइक करें