नई दिल्लीः पाकिस्तान के पीएम इमरान खान अब अपनी ही सरजमी पर विपक्षी पार्टियों के निशाने पर हैं। विपक्षी दलों ने अब एक साथ मिलकर सरकार विरोधी अभियान शुरू किया है, जिसका उद्देश्य सत्तारूढ़ सरकार को पटखनी देना है। कम से कम 11 राजनीतिक दलों वाले विपक्षी दलों के गठबंधन, पाकिस्तान डेमोक्रेटिक मूवमेंट (पीडीएम) ने शुक्रवार को पंजाब प्रांत के गुजरांवाला शहर में एक विशाल सभा का आयोजन किया, जिसमें विपक्षी नेताओं ने लोगों से खचाखच भरी रैली को संबोधित किया।
पीडीएम ने चेतावनी दी कि खान की सरकार के ज्यादा दिन नहीं रह गए हैं और उल्टी गिनती शुरू हो चुकी है। पीएमएल-एन की वाइस प्रेसीडेंट मरियम नवाज ने कहा, “मैं उन चीजों के लिए लड़ रही हूं जो मौजूदा सरकार के कार्यकाल के दौरान नष्ट हो गई हैं और पत्रकारों के लिए लड़ रही हूं जिन्हें सेंसर कर दिया गया। जो पत्रकार सच्चाई के साथ खड़े थे, उन्हें नौकरी से निकाल दिया गया। आज हालात ये हैं कि महिला स्वास्थ्यकर्मी इस्लामाबाद की सड़कों पर उतर कर विरोध प्रदर्शन कर रही हैं।”
अपने पिता, पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ को अपदस्थ किए जाने का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा, “किसी को भी जनता के चुने हुए प्रतिनिधियों को बाहर करने का अधिकार नहीं है। यह जनता है जो सरकारें बनाती है और जिसको बनाती है, उसे हटाने का भी हक है। पनामा लीक और अदालत के आदेशों के बारे में बात करते हुए, शरीफ परिवार को ‘सिसिलियन माफिया’ के रूप में संदर्भित किए जाने का जिक्र किया। मरियम ने याद दिलाया कि अदालत को ‘वास्तव में एक माफिया क्या है’ के बारे में अच्छी तरह से पता होगा।
उन्होंने कहा, “आज आपने (इमरान खान) ने मीडिया को दबा दिया है, यही वजह है कि कोई भी आपके भ्रष्टाचार के बारे में बात नहीं करता। पाकिस्तान पीपल्स पार्टी (पीपीपी) के अध्यक्ष बिलावल भुट्टो-जरदारी ने कहा कि खान के पास गरीबों की समस्याओं का कोई समाधान नहीं है। बिलावल ने प्रधानमंत्री के वॉलंटियर फोर्स का मजाक उड़ाते हुए कहा, “इमरान के लिए महंगाई का समाधान टाइगर फोर्स है। टिड्डियों के लिए उनका समाधान टाइगर फोर्स है।
कोविड-19 के लिए उनका समाधान टाइगर फोर्स है। बिलावल ने कहा कि इमरान खान ने भ्रष्टाचार को खत्म करने का वादा किया, लेकिन भ्रष्टाचार के सभी रिकॉर्ड तोड़ दिए। उन्होंने कहा कि पीटीआई के संस्थापक सदस्यों ने दावा किया है कि खान और उनकी राजनीतिक पार्टी भारत से वित्त पोषित हुई है।जमीयत-उलेमा-ए-इस्लाम-फजल (जेयूआई-एफ) के नेता मौलाना फजलुर रहमान के रूप में सरकार विरोधी नाराजगी जारी रही, उन्होंने सरकार को नकली शासक वाली सरकार कहा।
उन्होंने कहा कि नकली शासक के भाग्य का फैसला जल्द होगा। लोकतंत्र का सूरज जल्द ही उगने वाला है। यदि आप निडर रहते हैं, तो यह सरकार दिसंबर का महीना नहीं देखेगी। सरकार के खिलाफ विपक्ष के गठबंधन ने गुजरांवाला सभा से एक जोरदार शुरुआत की और आने वाले दिनों में कराची, मुल्तान, लाहौर और पेशावर में इसी तरह के सरकार विरोधी रैलियां करने की इसकी योजना है।
Demonstrators faced off with police on the one-year anniversary of mass protests over inequality that left more than 30 dead and thousands injured in the streets of #Santiago#ChileProtests pic.twitter.com/pnaiYfP0Pq
— DD News (@DDNewslive) October 19, 2020
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