अनिल मेनन ने 1999 में हार्वर्ड यूनिवर्सिटी से न्यूरोबायोलॉजी में ग्रेजुएशन और 2004 में कैलिफोर्निया की स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी से मैकेनिकल इंजीनियरिंग की पढ़ाई की.वे अमेरिकी एयरफोर्स में लेफ्टिनेंट कर्नल हैं.
वाशिंगटन: अमेरिकी स्पेस एजेंसी नासा NASA में दस ट्रेनी एस्ट्रोनॉट में से भारतीय मूल के अनिल मेनन का नाम भी शामिल किया गया है। इस मिशन में 6 पुरुष और 4 महिलाएं हैं. यह मिशन खास है क्योंकि अब तक चांद पर कोई भी भारतीय अंतरिक्ष यात्री नहीं पहुंचा है. अनिल मेनन इस मिशन पर अगर जाते है तो चांद पर जाने वाले वे पहले भारतीय होंगे. अनिल के माता-पिता भारत और यूक्रेन से थे. इनकी परवरिश और पढ़ाई अमेरिका के मिनेसोटा से हुई थी. अनिल ने 1999 में हार्वर्ड यूनिवर्सिटी से न्यूरोबायोलॉजी में ग्रेजुएशन और 2004 में कैलिफोर्निया की स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी से मैकेनिकल इंजीनियरिंग की पढ़ाई की. स्टैनफोर्ड मेडिकल स्कूल से उन्होंने डॉक्टर की डिग्री प्राप्त की. अनिल भारत पोलियो अभियान की स्टडी के लिए आए थे, यहां करीब एक साल तक रहे थे. इससे पहले भी अनिल मेनन अंतरराष्ट्रीय स्पेस स्टेशन पर NASA के कई अभियानों में शामिल हो चुके हैं। वे बतौर क्रू फ्लाइट सर्जन का काम कर चुके हैं। वे अमेरिकी एयरफोर्स में लेफ्टिनेंट कर्नल हैं.
NASA announces the 2021 class of 10 astronaut candidates:
Nichole Ayers
Marcos Berríos
Christina Birch
Deniz Burnham
Luke Delaney
Andre Douglas
Jack Hathaway
Anil Menon
Christopher Williams
Jessica Wittner pic.twitter.com/AoWIqMDEKk— Michael Sheetz (@thesheetztweetz) December 6, 2021
12 हजार में से 10 का हुआ चयन
नासा के इस मून मिशन के लिए 12 हजार आवेदनों में केवल दस को चुना गया है. मून मिशन के लिए चुने सभी 10 लोगों को अगले वर्ष जनवरी में टेक्सास के जॉनसन स्पेस सेंटर पर दो वर्ष की ट्रेनिंग दी जाएगी. ट्रेनिंग के बाद 10 लोग आर्टेमिस जेनरेशन प्रोग्राम में भाग लेंगे. इस प्रोग्राम के तहत इन्हें चांद पर भेजा जाएगा.
गौरतलब है कि अनिल 2014 में नासा के फ्लाइट सर्जन रहे हैं। 2018 में एलन मस्क की स्पेसएक्स से जुड़े थे। इन्होंने स्पेसएक्स की पहली ह्यूमन फ्लाइट के मेडिकल प्रोग्राम में सहायता की। इसके साथ स्टारशिप के निर्माण, एस्ट्रोनॉट प्रोग्राम, लॉन्च प्रोग्राम्स के लिए भी कार्य किया। ऐसा कहा जा सकता है कि अनिल के चुनाव के पीछे उनका अनुभव है।
अनिल के साथ चुनी गई टीम के अन्य सदस्यों में 9 ट्रेनी एस्ट्रोनॉट में यूएस एयरफोर्स के मेजर निकोल एयर्स और मेजर मार्कोस बेरियोसो, US मरीन कॉर्प्स मेजर (रिटायर्ड) ल्यूक डेलाने, US नेवी के लेफ्टिनेंट कमांडर जेसिका विटनर और लेफ्टिनेंट डेनिज बर्नहैम, US नेवी कमांडर जैक हैथवे, क्रिस्टोफर विलियम्स, क्रिस्टीना बिर्चो और आंद्रे डगलस शामिल हैं।
अब तक इतने भारतीय अंतरिक्ष तक पहुंचे
अब तक भारत से 4 लोग अंतरिक्ष पहुंच चुके हैं. इन अंतरिक्ष यात्रियों में राकेश शर्मा, भारतीय मूल की कल्पना चावला, सुनीता विलियम्स और राजा चारी शामिल हैं. मगर अभी तक कोई भी भारतीय चांद तक नहीं जा सका है. उम्मीद जताई गई है कि अगर अनिल मेनन नासा मिशन का भाग बनते हैं तो चंद्रमा पर जाने वाले वे पहले भारतीय मूल के शख्स होंगे.
अधर्म व अन्याय के विरुद्ध अद्वितीय संघर्ष व बलिदान के प्रतीक 'हिन्द की चादर’ सिखों के नवम गुरु, गुरु तेग बहादुर जी के बलिदान दिवस पर उनके चरणों में कोटिशः नमन करता हूँ।
आस्था व मानवता की रक्षार्थ आपका सर्वोच्च बलिदान सदैव हमें धर्म की रक्षा व राष्ट्रसेवा हेतु प्रेरित करता रहेगा। pic.twitter.com/KmW8wqkCVH
— Amit Shah (@AmitShah) December 8, 2021
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